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Sunday 12 April 2020

COVID19, Malaria, Hydroxychloroquine and India - मलेरिया और हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन का भारत से सम्बन्ध

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पूरी दुनिया अभी कोरोना वायरस से फैली महामारी से लड़ रही है और इसकी अभी तक कोई वैक्सीन या इलाज नहीं मिला है, पर कुछ केस में मलेरिया में कारगर दवाई हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन (Hydroxychloroquine) से COVID19 के मरीजों को राहत मिल रही है, जिस से पूरी दुनिया में इसकी मांग बढ़ गई है... क्यूंकि भारत इसके सबसे बड़े उत्पादों देशो में से एक है इसलिए पूरी दुनिया की नजर भारत पर टिकी है और इस विपदा के समय भारत सभी देशों को यथासंभव मदद कर रहा है, आप को जानकर हैरानी होगी की मलेरिया बीमारी के परजीवी की खोज से लेकर इसके इलाज तक की खोज भारत में ही हुई थी... पढ़े पूरी जानकारी...

COVID19, Malaria, Hydroxychloroquine and India - मलेरिया और हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन का भारत से सम्बन्ध Ronald Ross and Prafulla chandra ray


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सबसे पहले जानते है की मलेरिया बीमारी मच्छर से फैलता है जो मच्छर में मौजूद परजीवी से इंसानों के शरीर में पहुँच कर कर उनको बीमार करता है, जिसकी खोज की थी रोनाल्ड रोस ने... जिनका जन्म भारत के राज्य उत्तराखंड में हुआ था... उत्तराखंड के कुमाऊ मंडल के अल्मोड़ा में 13 मई 1857 को सर कैम्पबेल क्लेब्रांट (Sir Campbell Claye Grant Ross) के घर इनका जन्म हुआ था... (विकिपीडिया लिंक) मलेरिया के परजीवी प्लाजमोडियम के जीवन चक्र पर रिसर्च के लिए इन्हें 1902 में केमिस्ट्री का नोबल पुरस्कार भी दिया गया था...

Photo - Wikipedia

अब बात करते हैं मलेरिया बीमारी में कारगर साबित हुई दवाई हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन (Hydroxychloroquine) के बारे में... भारतीय वैज्ञानिक प्रफुल्ल चन्द्र रे को भारतीय रसायन शास्त्र का जनक भी कहा जाता है... जिनका जन्म 2 अगस्त 1861 को बंगाल के खुलना जिले (वर्तमान में बांग्लादेश) में हरीश चन्द्र राय के घर में हुआ था... (विकिपीडिया लिंक) प्रफुल्ल चन्द्र रे ने बंगाल केमिकल्स एंड फार्मास्यूटिकल लिमिटेड (BCPL) कंपनी की स्थापना 1901 में कलकत्ता में की थी... जहाँ हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन फॉस्फेट का निर्माण किया जाता था... जो मलेरिया में कारगर है।

Photo - Wikipedia

इनके सम्मान में भारत सरकार द्वारा 1961 में डाक टिकट जारी किया गया था...

Photo - Wikipedia 

Hydroxychloroquine का प्रयोग अब कोरोना वायरस के खिलाफ किया जा रहा है और इसकी मांग पूरी दुनिया में बढ़ गई है और सभी देश भारत से इसकी मांग कर रहे हैं, भारत ने साफ किया था कि पहले देश के लिए इसकी आपूर्ति की जाएगी और उसके बाद दुसरे देशों को भेजा जायेगा... और अब अमेरिका, ब्राजील, श्रीलंका, इजराइल जैसे देशों को इसकी आपूर्ति कराइ जा रही है जिसके लिए सभी देश भारत के शुक्रगुजार हैं...






source - twitter 

मुश्किल समय में काम आना ही सबसे बड़ी बात होती है... अभी भी देश में Hydroxychloroquine तेजी से बनायीं जा रही है जो आगे देश और दुनिया को कोरोना वायरस से लड़ने में मदद करेगा...

source - twitter 

Hydroxychloroquine को कोरोना वायरस का इलाज नहीं कहा जा सकता है पर यह उसके इलाज में काफी हद तक मददगार है, इसलिए जब तक कोरोना वायरस का सही इलाज नहीं मिल जाता तब तक सरकार द्वारा लॉक डाउन का पालन करे, घर में रहे और वायरस से बचे...

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- बाबा बेरोजगार


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